मिलीभगत से खोदी जा रही थी रेत, हादसे में मौत के तीन दिन बाद भी माफिया का नाम नहीं आया

मिलीभगत से खोदी जा रही थी रेत, हादसे में मौत के तीन दिन बाद भी माफिया का नाम नहीं आया

Avinash

लोफंदी रेत घाट जो कि पूरी तरह अवैध है, उसका संचालन स्थानीय लोगों के मुताबिक कांग्रेस के रसूखदार नेता द्वारा परदे के पीछे से किया जा रहा है। लेकिन चाहे वह ग्रामीण हो या फिर पंचायत और जनपद पंचायत के पदाधिकारी या फिर खनिज विभाग के अधिकारी, कोई भी उसका नाम लेने की हिम्मत नहीं कर रहा है। उस माफिया का नाम सड़क दुर्घटना में हुई मौत के तीन दिन बाद भी सामने नहीं आया है। स्थानीय लोगों के मुताबिक अवैध रेत खदान कांग्रेस के रसूखदार बड़े नेता की है।
बुधवार को सुबह आठ बजे ग्राम लोफंदी में रेत भरी ट्रक ने गांव के ही सलमान को कुचल दिया। उसकी वहीं पर मौत हो गई। पुलिस के मुताबिक वाहन किसी अरुण साहू का है और गाड़ी भी वहीं चला रहा था। वह पीटे जाने के डर से भाग गया। आक्रोशित भीड़ ने हंगामा किया और लॉ एंड आर्डर की स्थिति संभालने के लिए नायब तहसीलदार शेष नारायण जायसवाल को जाना पड़ा। ग्रामीणों ने गांव के घाट से अवैध रूप से रेत निकाले जाने और इसकी वजह से हादसा होने की शिकायत करते हुए लिखित में कार्रवाई का आश्वासन देने कहा। नायब तहसीलदार ने लिखकर दिया तब ग्रामीण माने। सलमान के परिजन को अंतिम संस्कार के लिए तत्काल 10 हजार रुपए की आर्थिक मदद की गई। वहीं इस मामले में पुलिस ने केस दर्ज किया जबकि खनिज विभाग जो सबसे अंत में गांव पहुंचा। अधिकारियों ने नदी जाने वाले रास्ते को खोद दिया लेकिन नदी में बनाए रास्ते को नहीं खोदा। इससे तो यहीं लग रहा है कि अधिकारी रेत माफिया की मदद कर रहे हैं। रेत माफिया कौन है, यह सभी जानते हैं पर बोलने तैयार नहीं है। भास्कर ने हर जिम्मेदार से इसे लेकर बात की। पढ़िए वे क्या कर रहे हैं-

रेत के टीले बता रहे होता रहा अवैध उत्खनन
लोफंदी घाट में रेत के टीले नजर आ रहे हैं। इन टीलों को देखकर ही समझा जा सकता है कि यहां एक अरसे से रेत का अवैध उत्खनन हो रहा है। पंचायत और जनपद पंचायत के पदाधिकारी अवैध उत्खनन की बात छिपाने की कोशिश कर रहे हैं लेकिन इन टीलों का वे क्या करेंगे।

मैं कुछ बातें फोन पर नहीं बता सकता
"लमेर से भी रेत गाड़िया हमारे गांव से गुजरती हैं। लोफंदी में कौन अवैध खुदाई करवाता है, यह नहीं जानता। पोकलेन से खुदाई की जानकारी नहीं है। हमने उत्खनन पर रोक लगाने चार माह पहले पंचायत में प्रस्ताव रखा था। मैं कुछ बातें फोन पर नहीं बता सकता।"
-शिवानंद सराफ, सभापति, सदस्य, जनपद पंचायत बिल्हा

मैं नहीं जानता कौन करवा रहा था खुदाई
"अवैध उत्खनन में पंचायत का कोई हाथ नहीं है। खनिज विभाग से अवैध उत्खनन की शिकायत किया था। कार्रवाई भी हुई है। रेत का अवैध उत्खनन हो रहा है लेकिन कौन कर रहा है, ये नहीं जानता। कहा जाता है कि इसके पीछे बड़े आदमी हैं।"
-रामाधार सोन्हाले, सरपंच लोफंदी

अवैध उत्खनन के पीछे कौन, मुझे नहीं पता
"मैं मौके पर गया था तो ग्रामीणों ने अवैध उत्खनन की शिकायत की। उनकी मांग पर कार्रवाई के लिए लिखकर दिया पर उनसे यह भी कहा था कि वे लिखित शिकायत करें पर अब तक कोई सामने नहीं आया है। अवैध उत्खनन कौन करवा रहा था,इसकी जानकारी मुझे नहीं है।"
-शेष नारायण जायसवाल,नायब तहसीलदार

मुझे जानकारी नहीं, प्रकरण में होगा जुर्माना
"लोफंदी रास्ते से घुटकू घाट से भी रेत लेकर आते हैं, यह जांच का विषय है कि ड्राइवर कहां से रेत लेकर आ रहा था लेकिन वह फरार है। अभी केस पुलिस के पास है। हमारे पास आने पर नियमानुसार जुर्माना करेंगे। लोफंदी में अवैध उत्खनन के पीछे कौन हैं, जानकारी नहीं है।"
-दिनेश मिश्रा, उप संचालक खनिज विभाग



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The sand was being dug with connivance, even after three days of the accident, the name of the mafia did not come.


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