@बालोद//पीयुष कुमार।।
कर्मचारी एवं अधिकारी के आंदोलन के विरोध में ग्रामीणों ने राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, राज्यपाल एवं मुख्यमंत्री के नाम सरपंच को सौंपा ज्ञापन
छत्तीसगढ़ में विगत लंबे दिनों से चरणबद्ध तरीके से कर्मचारी-अधिकारीयों द्वारा वेतन महंगाई भत्ते एवं यात्रा भत्ता बढ़ाने के लिए कई बार हड़ताल कर चुके हैं। इस बार सभी कर्मचारी एवं अधिकारी अनिश्चितकालीन हड़ताल में बैठ गए हैं। जिससे पूरा सरकारी कार्य बाधित हो रही है। ग्रामीणों ने कहा की सभी गरीब मजदूरों व उनके बच्चों की भविष्य के बारे में जरा विचार करें, जिनका जीवन कोरोना काल से अस्त व्यस्त हो चुका है शिक्षकों के द्वारा आये दिन आंदोलन में जाने से बच्चों की पढ़ाई प्रभावित हो रही है बच्चे नशे का शिकार हो रहें विभिन्न विभागों द्वारा महगाई भत्ते के लिए अनिश्चितकालीन हड़ताल कर रहे हैं।जरा हम गरीब मजदूरों पर भी ध्यान आर्कषण करें जो 150 रूपये पर परिवार चला रहे हैं।सेवार्थ सरकारी पदों पर बैठें जिम्मेदार कर्तव्य निष्ठ अधिकारी एवं कर्मचारी ,शिक्षकों का हड़ताल गरीब जनता व उनके बच्चों के भविष्य के साथ खिलवाड़ है ऐसे जिम्मेदार लोगों के लिए ग्रामसभा के माध्यम से निन्दा प्रस्ताव पारित होना चाहिए। इस हड़ताल के विरोध में बेलमांड के ग्रामीणों के द्वारा राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, राज्यपाल एवं मुख्यमंत्री के नाम सरपंच को ज्ञापन सौंपे।
ग्रामीणों ने शासन प्रशासन से निवेदन किये है कि 22 अगस्त से होने वाले हड़ताल का असर बच्चों कि पढ़ाई व जनता के जीवन पर न हो इसका सुनिश्चित व्यवस्था करें अन्याथ हमें भी अपने व बच्चों कि भविष्य के लिए निर्णायक कदम उठाने पड़ेगे जिसका जिम्मेदार शासन प्रशासन होगा। इस कार्यक्रम में प्रमुख रूप से गंगाधर ठाकुर, अनिल विश्वकर्मा, गोवर्धन ठाकुर , लोचन कुमार ठाकुर, रोमन लाल मंडावी महादेव गांवरे ,गणेश राम ठाकुर नरेश साहू ,हरख यादव ,परस कोठारी ,डेमन लाल ,विष्णु राम गिरवर लेडिंया उपस्थित थे।