अंबिकापुर मेडिकल कॉलेज के कोविड वार्ड से एक बंदी फ़रार हो गया, जिसके बाद ड्यूटी पर मौजुद जेल प्रहरी को निलंबित कर दिया गया है। कैदी हत्या के आरोप में जेल में बंद था, उसके कोरोना संक्रमित होनें के बाद उसे 5 दिन पहले ही अस्पताल में भर्ती कराया गया था। वार्ड के बाहर एक जेल प्रहरी की ड्यूटी भी लगाई गई थी, लेकिन उसे कैदी के भागने का पता ही नहीं चला। घटना की जानकारी सुबह लगी तो एक घंटे बाद अफसरों को सूचना दी गई जिसके बाद जेल प्रशासन ने प्रहरी को सस्पेंड कर दिया है।
कैदी हत्या के आरोप में सेंट्रल जेल में था बंद, कोविड संक्रमित पाए जाने पर कराया गया था भर्ती
जानकारी के मुताबिक सरगुजा के धौरपुर में चंदेश्वरपुर निवासी संतोष यादव हत्या के आरोप में अंबिकापुर सेंट्रल जेल में बंद था। कोरोना संक्रमण को देखते हुए उसकी 5 मई को जांच की गई। कोविड संक्रमित पाए जाने पर मेडिकल कॉलेज के कोविड वार्ड में भर्ती कराया गया था। डॉक्टर की सलाह से उसे अंबिकापुर मेडिकल कॉलेज के कोविड वार्ड में अन्य विचाराधीन कैदियों के साथ भर्ती करा दिया गया।
सुरक्षा व्यवस्था को देखते हुए जेल प्रहरी मनीष की ड्यूटी कोविड वार्ड के बाहर लगाई गई थी। जेल प्रहरी मनीष की ड्यूटी रात 2 बजे से सुबह 6 बजे तक थी। सुबह जब ड्यूटी पूरी होने लगी तब मनीष को कैदी के भागने का पता चला। जिसके बाद पहले तो वह खुद ही उसकी तलाश करता रहा, लेकिन जब नहीं मिला तो करीब एक घंटे बाद जेल गेट प्रहरी मनोज सिंह और गार्ड इंचार्ज शंकर प्रसाद तिवारी को सूचना दी गई। इस संबंध में धौरपुर थाना प्रभारी को सूचित किया गया और FIR दर्ज कराई गई एवं जेल प्रबंधन ने जेल प्रहरी मनीष को निलंबित कर दिया है।